वनों में आग लगने पर वन अमले द्वारा फायर ब्लोवर और फायर लाइन कटाई से किया जा रहा नियंत्रित
वन विभाग के अमले के साथ फायर वाचर्स और वन प्रबंधन समिति आग बुझाने में कर रहे सहयोग
लोगों से अपील ‘कृपया वनों में सूखे पत्तों में आग न लगाएं’
वनों में आग लगने की सूचना टोल फ्री नंबर 18002332631 पर दें



रायगढ़। रायगढ़ वनमण्डल अंतर्गत विगत दिनों में विभिन्न वन परिक्षेत्र में दावानल की घटनाएं प्रकाश में आई हैं। जिस पर त्वरित कार्रवाई करते हुए वन विभाग के अमले द्वारा फायर ब्लोवर, फायर लाइन कटाई विधि और उपलब्ध संसाधनों के साथ फायर वाचर्स के सहयोग से बुझाया गया।
इस संबंध में जानकारी देते हुए डीएफओ रायगढ़ स्टायलो मंडावी ने बताया कि वन परिक्षेत्र रायगढ़, खरसिया, घरघोड़ा एवं तमनार के अंतर्गत ग्राम बगुरसिंया, बरकछार, धनुवारडेरा, छिरवानी, जामगांव, कांटाझरिया, बरगढ़, बोतल्दा, रानीसागर, गुरदा, चारमार, अमलीडीह, चिमटापानी, डेहरीडीह, जरकट, पुसल्दा, छिरवानी, हमीरपुर, जांजगीर, हिन्झर, झिंगोल में दावानल की घटनाएं प्रकाश में आई है। जिस पर कार्रवाई करते हुए वन अमले द्वारा उपलब्ध संसाधनों एवं फायर वाचर के सहयोग से बुझाया गया है। उन्होंने बताया कि फॉरेस्ट सर्वे ऑफ इंडिया के द्वारा सेटेलाईट से वन क्षेत्र में आग लगने की मॉनिटरिंग की जाती है। वन क्षेत्र में आग लगने की घटना की सूचना वन कर्मचारियों रजिस्टर्ड मोबाईल नंबर पर प्राप्त होती। इसमें वन क्षेत्र के बीट और कंपार्टमेंट स्तर तक की जानकारी और वहां तैनात कर्मचारियों को मिलती है। जिस पर उस क्षेत्र में आग बुझाने के लिए त्वरित कार्रवाई की जाती है।
वन एक राष्ट्रीय संपदा है, वन क्षेत्रों से गुजरने वाले राहगीरों से भी अपील की जाती है कि यदि वनों में किसी प्रकार की आग लगने की घटना दिखाई देती है तो जलती हुई आग के सामने पड़ी हुई सुखी पत्तियों की एक सीधी लाईन में हटा देवें ताकि आग जंगल की ओर न फैल सके। वनों में आग न लगे इसके लिए वन विभाग के सभी अधिकारी-कर्मचारी प्रयासरत् है।
रायगढ़ वनमण्डल रायगढ़ अंतर्गत प्रतिवर्ष 15 फरवरी से 15 जून तक अग्नि सीजन प्रभावशील रहता हैं। इसकी तैयारी पूर्व से ही विभाग द्वारा जाती है। जिसमें वन एवं वनों की सुरक्षा के लिए ग्राम स्तर पर वन प्रबंधन समिति सदस्यों की बैठक लेकर उनसे चर्चा की जाती है तथा वनों में लगने वाली अग्नि के संबंध में अवगत कराया जाता है। जहाँ भी आग लगने की घटना घटित होती है, उसे वन प्रबंधन समिति एवं वन अमलों की सहयोग से बुझाया जाता है। वर्तमान में महुआ का सीजन भी प्रारंभ हो चुका है और महुआ पेड़ के नीचे गिरे सुखे पत्तों को जलाने की लोगों की प्रवृत्ति होती है। जिससे वनों में आग फैल जाती है लोगों से वन विभाग आग्रह करता है कि महुआ पेड़ के नीचे गिरे हुए सुखे पत्तों को झाडू के माध्यम से पेड़ किनारे एकत्रित करे और आग न लगावें और यदि आसपास आग लगी हुई है तो उसकी सूचना वन विभाग के टोल फ्री नम्बर पर 18002332631 तत्काल दें जिससे उसे आगे फैलने से रोका जा सके।

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